कंकर मुंजारे ने अपने निवास पर ली पत्रकार वार्ता कहा 13 और 14 नवंबर को जिले में बदली गयी है ईवीएम मशीन,

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कंकर मुंजारे द्वारा 28 अक्टूबर को अपने निजी निवास में एक पत्रकार वार्ता का आयोजन किया गया जिसमें उन्होंने 27 नवंबर को हुई स्ट्रांग रूम में की घटना को लेकर जिला प्रशासन को आड़े हाथों लिया और कहा कि जिला प्रशासन द्वारा आज सत्ता पक्ष के इशारों पर काम किया जा रहा है और हुए निर्वाचन चुनाव में भारी धांधली की गई है वहीं उन्होंने यह भी बताया कि 13 और 14 नवंबर को जिले की 6 विधानसभा में लगभग 100 ईवीएम मशीन को स्ट्रांग रूम से बदल गय इसके उन्होंने पूरे एविडेंस भी मीडिया के सामने पेश किया

आपको बता दे की कंकर मुंजारे द्वारा अपने निवास पर एक पत्रकार वार्ता लेते हुए बताया गया कि आज जो विधानसभा चुनाव 2023 का निर्वाचन जो हुआ है उसमें बड़ी मात्रा में धांधली की गई है और उसके खुलासे अब धीरे-धीरे होते जा रहे हैं क्योंकि जब चुनाव चल रहा था उस समय भी काफी मात्रा में धांधली जिला प्रशासन के द्वारा की गई और ना ही जिला प्रशासन द्वारा इसको लेकर कोई कार्यवाही की गई वही 27 नवंबर को हुए स्ट्रांग रूम में बैलेट पोस्टल के मामले में भी जो डाक मत पत्र खोले गए थे तब वहां पर गौरीशंकर बिसेन के पूरे रिश्तेदार मौजूद थे जिसमें k.G बिसेन , शरद बिसेन और चंदेल यह सब वहां उपस्थित होकर गौरीशंकर बिसेन के लिए काम कर रहे थे जिनके हाथों में पेन रखी हुई थी और उन्होंने डाक मत पत्र से छेड़छाड़ की है और जिसने भी दूसरी पार्टियों को अपना मत दिया है उनके मत को छेड़छाड़ कर भारी धाधली की गयी है जबकि सभी प्रशासनिक अधिकारी का काम ही होता है गौरी शंकर बिसेन को कैसे भी करके चुनाव में जीत दिलाना एवं अन्य दलों से कोई भी उम्मीदवार और प्रतिनिधि उपस्थित नहीं थे और ना ही जिला प्रशासन द्वारा किसी प्रकार की कोई सूचना उन्हें दी गई थी कि वह स्वयं भी परसवाड़ा विधानसभा से प्रत्याशी हैं किंतु जिला प्रशासन ने उन्हें कोई सूचना और जानकारी नहीं दी

कलेक्टर झूठ बोल रहे हैं-
उन्होंने कलेक्टर पर आरोप लगाते हुए कहा कि गिरीश कुमार मिश्रा के द्वारा अपनी ऑफिशियल आईडी में यह डाला गया कि उन्होंने सभी प्रत्याशियों को सूचना दी थी, किंतु कोई भी प्रत्याशी को किसी प्रकार की कोई सूचना नहीं दी गई थी ,कलेक्टर झूठ बोल रहे हैं अब वह अपने बचाव हेतु इस प्रकार का झूठा बयान अपनी ऑफिशल वेबसाइट पर डाल रहे हैं और उन्होंने कलेक्टर गिरीश मिश्रा पर गंभीर आरोप लगाते हुए पूरे निर्वाचन में धांधली करने का प्रमुख गिरीश मिश्रा को ही बताया है

अस्थाई स्ट्रांग रूम बनाने क्या निर्वाचन आयोग से मंजूरी ली गयी थी-

तहसील कार्यालय में अस्थाई स्ट्रांग रूम बनाने की आवश्यकता आखिर क्यों पड़ी क्यों वहां पर अस्थाई स्ट्रांग रूम बनाया गया उन्हें पूरा शक है कि जिला प्रशासन द्वारा धांधली करने के मकसद से ही वहां अस्थाई स्ट्रांग रूम बनाया गया था और यदि वहां स्ट्रांग रूम बना था तो क्या उन्होंने निर्वाचन आयोग को इसकी जानकारी प्रेषित की थी, और क्या उन्हें निर्वाचन आयोग ने इसकी मंजूरी दी थी, उन्होंने बताया कि वह वर्षों से चुनाव लड़ते आ रहे हैं पर इस प्रकार से कभी अस्थाई स्ट्रांग बनाने की स्थिति नहीं बनी थी, और ना ही अभी तक बनाए गए थे, और जिस प्रकार से इन्होंने 27 नवंबर को डाक मत पत्रों की 50-50 की थैली बनाने का काम किया है वह भी गलत है उन्होंने अपने जीवन में लड़े गए चुनाव में कभी इस प्रकार के डाक मत पत्र से छेड़छाड़ हद करना नहीं देखा डाक मत पत्र को मतगणना के दिन ही पहले लाकर निकाला जाता है और सबसे पहले उनकी गिनती होती है उन्होंने बताया कि गौरीशंकर बिसेन को जीतने के लिए इस प्रकार की गई है और डाक मत पत्रों से छेड़खानी की गई है

जिला प्रसासन के इन अधिकारी पर हो पहले कार्वाही –

यह भी बताया कि महज स्ट्रांग रूम में डाक मत पत्र वाले विषय पर सिर्फ तहसीलदार पर ही कार्रवाई नहीं होनी चाहिए थी इसमें जिला निर्वाचन अधिकारी, पुलिस अधीक्षक और एसडीएम गोपाल सोनी पर सबसे पहले कार्रवाई की जानी चाहिए थी और इन्हें यहां से हटकर मतगणना होना चाहिए तब ही जिले में निष्पक्ष चुनाव हो सकता है और इसमें बड़ी जांच होनी चाहिए और इन अधिकारियों के सबसे पहले मोबाइल की कॉल डिटेल निकाली जानी चाहिए जिसमें बीते दो महीना में जो भी चर्चाएं हुई वह सब निकलकर सामने आ जाएगी

मतगणना के दिन खून खराबा जैसी स्थिति बनेगी –

कंकर मुंजारे द्वारा यह भी वार्ता के दौरान बताया गया की मतगणना के दिन 3 दिसंबर को खून खराबा जैसी स्थिति भी बने के संकेत उन्हें मिल रहे हैं क्योंकि जिस प्रकार से चुनाव निष्पक्ष नहीं हुआ है उसको देखते हुए जिले की जनता काफी आक्रोशित है और यदि चुनाव के सही परिणाम सामने नहीं आए तो ग्रामीणों में काफी आक्रोश भी है और वह यह भी कह रहे हैं कि उनकी हत्या भी हो सकती है लेकिन वह जनता के लिए अपनी जान भी देने को तैयार है

मेरी अनुभा मुंजारे से कोई बात नहीं हुई है-

जिस प्रकार से अनुभा मुंजारे द्वारा भी अपनी प्रेस वार्ता के दौरान यह कहा गया था कि यदि जनता के हक अधिकार का हनन होता है तो वह भी स्वयं आगे जाकर गोली खाने के लिए तैयार है और मरने के लिए भी जनता के लिए तैयार है वहीं कंकर मुंजारे द्वारा भी अपनी प्रेस वार्ता के दौरान यह कहा गया कि वह भी जनता की लड़ाई एवं अन्याय के खिलाफ आवाज उठाने के लिए यदि उनकी हत्या भी होती है तो उन्हें कोई दुख नहीं है जिस पर हमारे द्वारा यह सवाल किया गया कि आखिर दोनों ही प्रत्याशी द्वारा अपनी हत्या की बात करने को लेकर क्या विषय है तो उन्होंने कहा कि उनके अनुभा मुंजारे से कोई बात नहीं हुई है और ना ही उन्होंने एक दूसरे से मिलकर या बयान दिया है उन्हें भी यह लगा होगा कि चुनाव यदि निष्पक्ष नहीं हुई है या जनता को न्याय नहीं मिला तो वह जनता के लिए मरने मिटने के लिए भी तैयार हैं

इसे नक्सली विचारधारा को बढ़ावा मिलेगा-

उन्होंने यह भी बताया कि वह जिले में हुई सभी घटनाओं को लेकर इलेक्शन कमीशन के पास भोपाल जा रहे हैं जिसमें वह बालाघाट जिले की सारी वस्तु स्थिति को वहां रखेंगे और बताएंगे कि किस प्रकार बालाघाट के जिला प्रशासन द्वारा यहां निष्पक्ष चुनाव नहीं होने दिया गया है और इन्हें यहां से तत्काल हटाकर इन पर कार्रवाई की जाए और दूसरी एजेंसी के द्वारा बालाघाट में पुनः चुनाव करवाया जाए उन्होंने कलेक्टर ,एसपी पर यह भी आरोप लगाया कि यह आसमान में हेलीकॉप्टर से उड़कर कौन सी जांच कर रहे थे यह सिर्फ जनता के पैसे को हवा में उड़ा रहे थे और उन्होंने कहा कि हेलीकॉप्टर से उड़कर इन्होंने कोई कार्य नहीं किया और ना ही इन्हीं की लापरवाही के चलते शासकीय कर्मचारी द्वारा अपने मताधिकार का प्रयोग तक नहीं किया बहुत से कर्मचारियों को आज भी इसका दुख है कि उन्होंने अपने मताधिकार का प्रयोग नहीं किया और इन सब इस प्रकार से यदि धांधली होती है तो निश्चित ही नक्सली हिंसा इसमें बढ़ती है और इसमें लोग नक्सली विचारधारा के रास्ते पर जाएंगे क्योंकि यदि जनता को इंसाफ नहीं मिलेगा और जनता अपने अधिकार का सही प्रयोग नहीं करेगी तो निश्चित ही इसे नक्सली विचारधारा को बढ़ावा मिलेगा

100 ईवीएम मशीन को स्ट्रांग रूम से बदल गय है –

कंकर मुंजारे द्वारा एक बड़ा आरोप जिला प्रशासन पर लगाते हुए उसके पुख्ता सबूत भी मीडिया के सामने पेश किए गए कि जब बालाघाट से जिले की 6 विधानसभा में ईवीएम मशीन पहुंचा दी गई थी उसके बाद क्यों 13 और 14 नवंबर को जिले की 6 विधानसभाओं में से 100 ईवीएम मशीन को स्ट्रांग रूम से बदल गय है इन्हें कैसे पता था कि यहां से पूरी तरह चेक की हुई जिले की 6 विधानसभा से 100 ईवीएम मशीन खराब हो गई जिसका उन्होंने विधानसभा वार आंकड़ा भी दिया जिसमे बैहर विधानसभा में 28 ईवीएम मशीन ,लांजी विधानसभा में 50 ईवीएम मशीन ,परसवाड़ा विधानसभा में दो ईवीएम मशीन, बालाघाट विधानसभा में 12 ईवीएम मशीन और वारासिवनी विधानसभा में 8 ईवीएम मशीन जिला प्रशासन द्वारा अधिकारियों के साथ मिलकर स्ट्रांग रूम से बदलने का काम किया गया

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