बढ़ती महंगाई के बीच दो जून की रोटी की आस हर गरीब गुरबे को होती है पर उसे एक वक्त का खाना भी ठीक से नसीब नहीं होता। संयुक्त अरब अमीरात के शहर दुबई का कुछ ऐसा ही हाल है। कहते हैं ये अमीरों का शहर है। यानी अगर आपकी जेब में पैसे नहीं है फिर ये शहर आपके लिए नहीं है। ऐसे में मजदूर और गरीब वर्ग को एक-एक वक्त के खाने के लिए सोचना पड़ता है। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। सरकार ने यहां रोटी के लिए स्मार्ट वेंडिग मशीन लगाई है। अगर आपको भूख लगी है तो फिर आपको एक बटन को दबाते ही ताज़ी ब्रेड और रोटी मिल जाएगी। ये पहल गरीब परिवारों और मजदूरों को चौबीसों घंटे मुफ्त रोटी उपलब्ध कराने में मदद करने के लिए है। नई स्मार्ट मशीन डिस्पेंसर को दुबई में कई आउटलेट्स पर रखा गया है, जिसमें अल मिज़हर, अल वारका, मिर्डिफ़, नाद अलशेबा, नद अल हमर, अल क़ौज़ और अल बड़ा शामिल हैं।
ये प्रोजेक्ट शेख मोहम्मद बिन राशिद अल मकतूम की कोशिशों का परिणाम है। उन्होंने कोरोना महामारी की शुरुआत में इस बात पर जोर दिया था कि यूएई में, कोई भी भूखा न सोए। इस मशीन को चलाने के लिए पैसे कम्युनिटी फंडिंग से जुटाए जा रहे हैं। इस पहल में लोग सीधे स्मार्ट ब्रेड डिस्पेंसर के जरिए दान कर सकते हैं। बता दें कि आंकड़ों के अनुसार, संयुक्त अरब अमीरात में गरीबी रेखा के नीचे 19.5 प्रतिशत लोग रहते हैं। ऐसे लोगों की आय प्रति दिन 80 दिरहम (22) है।
इस मशीन का इस्तेमाल करना बेहद आसान है। इससे आप दो तरह के ब्रेड निकाल सकते हैं- अरबी ब्रेड और फिंगर रोल। ‘ऑर्डर फ्री ब्रेड’ का चयन करने पर, मशीन ताजा गर्म ब्रेड तैयार करना शुरू कर देती है जिसे लगभग 1 मिनट में कार्डबोर्ड बॉक्स में निकाल दिया जाता है। अवकाफ एंड माइनर्स अफेयर्स फाउंडेशन (एएमएएफ) के तहत मोहम्मद बिन राशिद ग्लोबल सेंटर फॉर एंडोमेंट कंसल्टेंसी (एमबीआरजीसीईसी) द्वारा ‘ब्रेड फॉर ऑल’ पहल शुरू की गई थी।










































