ग्वालियर के गांव में रो रहा था अनजान युवक, लोगों ने पूछा तो बोलने लगा इंग्लिश… दूसरे देश का निकला आधार कार्ड

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पुलिस अधीक्षक ग्वालियर धर्मवीर सिंह के निर्देशानुसार जिले में गुमशुदा नाबालिग बच्चों के लिए प्रभावी कार्रवाई की जा रही है। इसी क्रम में ग्वालियर पुलिस अपराध नियंत्रण के साथ समाज सेवा व नागरिकों को जागरूक करने का भी निरंतर प्रयास करती रहती है। हाल ही में नेपाल निवासी एक मानसिक विक्षिप्त को उसके परिजनों से मिलवा कर उसे उसके घर रवाना किया गया।

नेपाल का रहने वाला है आकाश

लगभग 15 दिन पहले सोनेपुरा गांव से मोनू पराशर नाम के लड़के ने एसडीओपी बेहट संतोष पटेल को बताया कि एक लड़का गांव में आया है, जो रो रहा है। कुछ नाम पता नहीं बता रहा है। एसडीओपी ने थाना प्रभारी हस्तिनापुर राजकुमार राजावत को मौके पर तस्दीक के लिए भेजा। पुलिस ने गांव में मिले युवक को ग्वालियर स्वर्ग सेवा सदन आश्रम छोड़ा गया। पुलिस के प्रेम पूर्वक वार्तालाप, आश्रम की सेवा के पश्चात आकाश ने बताया कि वह नेपाल का रहने वाला है।

इंग्लिश में बोला आई गो टू होम

थाना प्रभारी ने नेपाल दूतावास में संपर्क कर आकाश के भाई बैशाकी लोधी को सूचना दी, जो 15 दिन बाद अपने भाई को लेने ग्वालियर पहुंचे। परिजनों को देखकर आकाश बहुत खुश नजर आया और उसने एसडीओपी ने इंग्लिश में बात की। ग्वालियर से गोरखपुर जाने वाली बरौनी एक्सप्रेस में पहुंचने के लिए समय न होने पर पुलिस अपनी गाड़ी से रेलवे स्टेशन लेकर गई, जहां से आकाश को उसके भाई वैशाकी और मामा के लड़के के साथ खुशी-खुशी अपने देश नेपाल के लिए रवाना किया।

इनके कारण मिल पाया आकाश घरवालों से

मानसिक विक्षिप्त युवक को सही दिशा दिखाने के लिए थाना प्रभारी राजकुमार राजावत ने विशेष भूमिका निभाई। उनके द्वारा युवक का आधार कार्ड खोजा और नेपाल दूतावास से संपर्क कर परिजनों को नेपाल से बुलाया। प्रभारी आरक्षक मनोज भदौरिया, आर सुनील परिहार के साथ स्वर्ग सेवा सदन के संचालक पवन सूर्यवंशी व उनकी टीम की बदौलत युवक आज अपने देश वापस रवाना हुआ और युवक के परिजनों ने ग्वालियर पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई की सराहना की।

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