नर्मदापुरम में एक घर के बाथरूम की बाल्टी में दो माह की बच्ची का शव मिला। पुलिस के सामने बड़ा सवाल ये है कि नवजात बाल्टी तक कैसे पहुंची? बाल्टी पर ढक्कन भी लगा था। घटना शोभापुर गांव की 22 मार्च की है। इस घटना को जानने के लिए गुरुवार को दैनिक भास्कर की टीम शोभापुर गांव पहुंची।
शाम 5.30 बजे टीम मासूम के घर के सामने पहुंची तो वहां मातम छाया हुआ था। घर के साइड में कबाड़ और फल के कैरेट रखे थे। पास ही ऑरेंज कलर की ढक्कन वाली वो बाल्टी रखी थी, जिसमें मासूम का शव मिला था। एक शख्स करीब चार साल की लड़की को लेकर आंगन में बैठा था। पूछने पर बोला- मैं आसिफ खान हूं। मां (आसिफ की पत्नी) काफी सदमे है। बार-बार तबीयत बिगड़ने से उसे अपने छोटे भाई के घर छोड़ा है, ताकि परिवार के लोग उसकी देखरेख कर सकें। बेटी की मौत को लेकर परिजन का शक भीख मांगने वाली एक महिला पर है। परिजन ने 22 मार्च को पूरे गांव में उसकी तलाश की, लेकिन वह नहीं मिली।
पिता बोला- बेटी की एक तस्वीर भी नहीं है
मैं फल विक्रेता हूं। 22 मार्च की सुबह साढ़े आठ से नौ बजे के बीच मैं ठेला लगाने के लिए निकल गया। सुबह 11 बजे पत्नी रुक्साना का कॉल आया कि छोटी बेटी (अनारजा) मिल नहीं रही है। मैं तुरंत घर आया। छोटा भाई इरफान और मोहल्ले के लोग भी बच्ची को तलाशने में जुटे हुए थे। पत्नी ने बताया कि मांगने वाली एक महिला आई थी, उसने खाना मांगा था, मैंने उसे देने से मना किया और डांटकर भगा दिया। इसके बाद मैं बेटी को कमरे में पलंग पर लिटाकर अंदर वाले कमरे में खाना बनाने चली गई। करीब पौने ग्यारह बजे बच्ची को दूध पिलाने के लिए गई तो बच्ची पलंग पर नहीं थी। पत्नी को शक हुआ कि मांगने वाली महिला बच्ची को ले गई। जिसके बाद मैं, भाई इरफान और परिजन गांव में उस महिला को ढूंढने निकल गए। दो घंटे ढूंढने के बाद भी न वो महिला मिली और न बच्ची। जिसके बाद हमने पुलिस चौकी में सूचना दी।