महामारी कोरोना के वायरस से संक्रमितों को लेकर एक स्वास्थ्य जर्नल के ताजे शोध ने बड़ा खुलासा हुआ है। सार्स-सीओवी-टू से संक्रमित आठ में से एक मरीज में कोविड-19 के कारण लंबे समय तक लक्षण दिखते हैं। अब तक वायरल रोग पर केंद्रित सर्वाधिक व्यापक अध्ययनों में से एक में यह दावा किया गया है। यह अध्ययन एक प्रतिष्ठित स्वास्थ्य जर्नल में प्रकाशित किया गया। यह अध्ययन सार्स-सीओवी-2 संक्रमण के बाद लंबी अवधि तक लक्षण को लेकर अपने तरह की पहली तुलना उपलब्ध कराता है। इसमें लंबी अवधि तक रहने वाले लक्षण की तुलना असंक्रमित आबादी के लक्षण और अन्य व्यक्तियों के कोविड-19 से संक्रमित होने से पहले और इसके बाद के लक्षणों से की गई है।
असंक्रमित आबादी को शामिल करने से लंबी अवधि के कोविड-19 लक्षणों की व्यापकता का और अधिक सटीक अनुमान लगाया जा सकता है। इसके अलावा इससे लंबी अवधि के कोविड के मुख्य लक्षणों की बेहतर पहचान होती है। नीदरलैंड में ग्रोनिंगन विश्वविद्यालय के प्रोफेसर जुडिथ रोसमेलन ने कहा, ‘कोविड -19 बीमारी के बाद कुछ रोगियों द्वारा अनुभव किए गए दीर्घकालिक लक्षणों के पैमाने और दायरे की जानकारी देने वाले डेटा की तत्काल आवश्यकता है।’ अध्ययन में उन लक्षणों को देखा गया जो अक्सर ‘लॉन्ग कोविड’ से जुड़े होते हैं, जिसमें सांस लेने में समस्या, थकान, स्वाद और सूंघने की क्षमता में कमी का आना शामिल है। उन्होंने कहा कि अन्य लक्षण जो कोविड -19 निदान के तीन से पांच महीने बाद नहीं बढ़े उनमें सिरदर्द, आंख में खुजली, चक्कर आना और पीठ दर्द हैं।










































