शासन द्वारा हर घर तक पानी पहुंचाने की मंशा से जल जीवन मिशन के तहत कार्य कराया जा रहा है इसके कार्य तेजी से जारी है लेकिन अधिकारियों की लापरवाह कार्यप्रणाली के चलते कई जगह में नल जल योजना के कार्य में काफी शिकायतें भी सामने आ रही है। नगर मुख्यालय से 12 किलोमीटर की दूरी पर स्थित ग्राम परसवाड़ा में लाखों की लागत से पानी की टंकी का निर्माण किया जा रहा है जिसका कार्य पिछले दो-तीन माह से बंद पड़ा हुआ है। इस कार्य में सबसे बड़ी खामी यह सामने आई है पानी की टंकी खड़ी तो हो गई लेकिन उसमें पानी की तराई नहीं किया गया।
आपको बताये कि चाहे कोई भी निर्माण कार्य हो उसमें पानी की तराई अच्छे से किया जाना आवश्यक होता है तभी वह निर्माण कार्य मजबूत होता है। इस निर्माण कार्य में यह खामी सामने आई है यहां ठेकेदार द्वारा कार्य कराने के बाद निर्माण कार्य चालू रहते में ही अचानक कार्य को बंद कर दिया गया, लेकिन नवनिर्मित पानी टंकी में पानी की तराई करने किसी को अधिकृत करना था यह नहीं किए जाने के कारण उस पानी की टंकी में तराई नहीं हो पाया। ऐसी स्थिति में अंदाजा लगाया जा सकता है कि वह पानी की टंकी कितनी मजबूती रहेगी।
ग्रामीणों ने बताया कि ग्राम परसवाड़ा में नल जल योजना के कार्य को प्रारंभ हुए डेढ़ वर्ष हो गया है अभी तक कार्य पूर्ण हो जाना था लेकिन रुक-रुक कर कार्य किए जाने के कारण इस योजना का कार्य अभी तक पूर्ण नहीं हो पाया है। गांव में पाइप लाइन बिछाकर हो गई है ऐसा लग रहा था 2 से 3 माह में ही कार्य पूर्ण हो जाएगा, साल बीत जाने के बावजूद भी अभी तक नल जल योजना का पानी नहीं मिला। गांव में पानी की समस्या होती है इसलिए पानी टंकी बनना आवश्यक है, अभी जो पिछले डेढ़ 2 माह से पानी टंकी का निर्माण कार्य रुका हुआ है इसके लिए ठेकेदार और विभाग दोनों जिम्मेदार है।
वही परसवाड़ा निवासी टिकेश कुमार कटरे ने बताया कि यहां नल जल योजना का काम लगभग डेढ़ वर्ष से शुरू है। दीपावली के 8 दिन पूर्व पानी टंकी का काम चालू हुआ था जिस प्रकार से कार्य चल रहा था हमें लग रहा था कि जल्दी ही कार्य पूर्ण हो जाएगा और ग्रामवासियों को पर्याप्त पानी मिलने लगेगा लेकिन इस पानी टंकी में कार्य पूर्ण करना तो दूर उसमें अच्छे से तराई तक नहीं की गई। पास में पंप हाउस बन रहा है उसमें भी तराई नहीं किया गया। विभागीय अधिकारियों ने इस पर गंभीरतापूर्वक ध्यान दिया जाना चाहिए ताकि इस योजना का लाभ ग्रामवासियों को लंबे समय तक मिल सके।










































