टाइगर स्टेट MP में बाघों की मौत के आंकड़े चिंता बढ़ा रहे हैं। हाल ही में दो बाघों की मौत हो चुकी है। इसी बीच पेंच टाइगर रिजर्व में इन दिनों टाइगर का कुनबा बढ़ना किसी बड़ी खुशखबरी से कम नहीं है। यहां की पाटदेव बाघिन (T-4) अगली ‘सुपर टाइग्रेस मॉम’ बन रही है। वह 9 साल के अंदर पांच बार में कुल 20 शावकों को जन्म दे चुकी है। अभी वह अपने चार शावकों के साथ टाइगर रिजर्व में घूमती नजर आ रही है। टी-4 बाघिन पेंच की ही ‘कॉलर वाली’ बाघिन की बेटी है।
मध्यप्रदेश के सभी 6 टाइगर रिजर्व इन दिनों टूरिस्टों से गुलजार है। नए साल से अब तक हजारों टूरिस्ट टाइगर रिजर्व में घूमकर जानवरों के करीब से दीदार कर चुके हैं। ऐसे में पेंच की तस्वीर ने सबको खुश कर दिया है।
मां के नक्शे कदम पर टी-4
पेंच में चार शावकों के साथ घूम रही टी-4 बाघिन को देखकर टूरिस्ट खुश हो रहे हैं। वह अपनी मां ‘कॉलर वाली’ बाघिन के नक्शे कदम पर ही चल रही है। ‘कॉलर वाली’ बाघिन की पिछले साल जनवरी में मृत्यु हो गई थी। सितंबर 2005 में जन्मी यह बाघिन 8 बार में 29 शावकों को जन्म दे चुकी थी। उसके नाम पर एक साथ पांच बच्चों को जन्म देने का भी रिकॉर्ड भी है। मप्र टाइगर स्टेट का दर्जा दिलाने में ‘कॉलर वाली बाघिन’ की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। उसी की संतान में एक टी-4 है, जो मां की विरासत को आगे बढ़ा रही है।
पांच बार में 20 शावक
टी-4 अपनी मां की तरह की एकसाथ पांच शावकों को भी जन्म दे चुकी है। पेंच के डिप्टी डायरेक्टर रजनीश सिंह ने बताया कि 2014 में बाघिन टी-4 ने पहली बार चार शावकों को जन्म दिया था। वर्ष 2016 में 3, 2018 में 4, 2020 में 5 शावक और 2023 में 4 शावकों के साथ वह घूम रही है। जंगल में शावकों को पालना आसान नहीं है, लेकिन टी-4 यह जिम्मेदारी बखूबी निभा रही है।