प्रदेश के धार जिले के कारम बांध को बचाने के लिए बडे स्तर पर काम किया जा रहा है। बांध से पानी निकालने के लिए समानांतर चैनल का निर्माण किया गया है, जिसमें से पानी निकाला जा रहा है। सेना, पुलिस, एसडीआरएफ और प्रशासन अलर्ट पर हैं। मुंबई आगरा राष्ट्रीय राजमार्ग को बंद कर दिया गया। जिस जगह पर चट्टान बाधा बन रही थी उसी स्थान पर एक नया विकल्प तैयार कर पानी छोड़ने की व्यवस्था की गई है। पूरे क्षेत्र में अब राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन से लेकर सेना सक्रिय होकर काम कर रही है। दूसरी ओर सभी 18 गांवों को खाली करवाने के बाद वहां पर लोगों को भोजन उपलब्ध कराने का काम किया जा रहा है। इस मामले में भारतीय सेना और धामनोद में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यकर्ताओं ने कमान संभाल ली है। संघ के स्वयंसेवक भोजन से लेकर अन्य मामलों में अपने स्तर पर सेवाएं दे रहे हैं। भोपाल से आए सेना के जवान भी गांव खाली करवाने में ग्रामीणों की मदद की। सीएम शिवराज सिंह चौहान ने शनिवार सुबह मंत्रालय में स्थित नियंत्रण कक्ष में एक विशेष बैठक लेकर धार जिले की धरमपुरी तहसील में कारम मध्यम सिंचाई परियोजना के निर्माणाधीन बांध से जनता की सुरक्षा के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री शिवराज ने कहा कि जनप्रतिनिधियों के सहयोग से खतरे में आए गांव के लोगों को अन्य जगह ले जाएं। उधर धार जिले के कारम नदी पर बन रहे डैम में हुई लीकेज की घटना पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमल नाथ ने कांग्रेस का एक 8 सदस्यीय जांच दल बनाया है। जो मौक़े पर जाकर सारी वस्तुस्थिति से मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी को अवगत कराएगा। मुख्यमंत्री ने धार कलेक्टर से कहा कि ‘पंकज जीवन में कभी-कभी ऐसे अवसर आते हैं जब हमको सामने आकर के सारी कठिनाइयों से लड़ना होता है। अपनी बुद्धिमत्ता का प्रयोग करते हुए, अपनी तत्परता का प्रयोग करते हुए हमें जनधन, पशु धन की रक्षा करनी है। युद्ध स्तर पर कार्य करें, यह हमारी परीक्षा की घड़ी है।सीएम शिवराज ने कहा कि निर्माणाधीन बांध से सीपेज के कारण जो परिस्थितियां उत्पन्न हुई हैं, मैं उस पर निरंतर नजर रखे हुए हूं। हमारे जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट और स्थानीय मंत्री राजवर्धनसिंह दत्तीगांव कल से ही बांध स्थल पर मौजूद हैं। हमारे इएनसी एवं अन्य इंजीनियर तथा विशेषज्ञों की टीम, कमिश्नर, कलेक्टर एवं प्रशासनिक अधिकारी बांध स्थल एवं प्रभावित होने वाले क्षेत्र में कल से ही उपस्थित हैं। कल भी एवं आज भी मेरी आदरणीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी स्थिति के बारे में पूरी चर्चा हुई है। आइआइटी रुड़की एवं बांध सुरक्षा के राष्ट्रीय विशेषज्ञों का भी मार्गदर्शन हमें प्राप्त हो रहा है। भोपाल कंट्रोल रूम से सीएस एवं एसीएस जल संसाधन एवं गृह, दोनों निरंतर स्थिति पर नजर रखे हुए हैं।










































