कभी उद्योग धंधे, कभी रोजगार तो कभी विकास ही विकास, ये ऐसे शब्द है जिनका राजनेता हर चुनाव में उपयोग कर जनता को लुभाते हैं और विकास का सपना दिखाकर जमकर वोट बटोरते हैं लेकिन नेताओं के दावों और घोषणाओं के अनुरूप यथार्थ में काम नहीं हो पाता। कभी शक्कर मिल, कभी बड़े बड़े उद्योग धंधे,तो कभी रेलवे ओवरब्रिज सहित ऐसी कई घोषणाएं हैं जिन्हें स्थानीय नेता अब तक पूरी नहीं कर पाए हैं। इन्हीं घोषणाओं में से एक जागपुर में बनने वाला उड़ान पुल भी है। जो लगभग15- 20 वर्षों से सिर्फ और सिर्फ घोषणाओं में सिमट कर रह गया है।वही नेताओं के आश्वासनों का लॉलीपॉप थामे ग्रामीण अब भी लगभग दो दशकों से इस उड़ान पुल का निर्माण होने का सपना संजोए बैठे हैं।जिसमें से कई लोगों ने अब उड़ान पुल बनने की आस छोड़ दी है तो कई ग्रामीण आज भी स्थानीय नेताओं के आश्वासन के सहारे जागपुर घाट में उड़ान पुल बनने की राह देख रहे हैं।
पहले दोनों तरफ खिलाओ कमल का फूल ,फिर बनेगा उड़ान पुल
पिछले 2 दशकों से जागपुर घाट पर उड़ान पुल बनने का सपना देख रहे लोगों को, चुनाव के समय स्थानीय नेता हर बार उड़ान पुल का सपना दिखाते हैं आपको बताएं कि सबसे पहले इस घाट पर उड़ान पुल बनने का सपना पिछले कई वर्षो से सत्ता पर आसीन विधायक गौरीशंकर बिसेन ने दिखाया था जहां तत्कालीन विधानसभा चुनाव के पूर्व उन्होंने जागपुर गांव में लोगों से कहा था कि नदी के इस तरफ और नदी के उस तरफ कमल का फूल खिला दोगे तो जागपुर घाट में उड़ान पुल बन जाएगा जहां उनकी घोषणा के अनुरूप लोगों ने कमल का फूल खिला दिया लेकिन घोषणा के अनुरूप इस घाट पर उड़ान पुल आज तक नहीं बन पाया।
सिर्फ घोषणा बनकर रह गया है उड़ान पुल -शिवकुमार नागपुरे
इस पूरे मामले को लेकर की गई चर्चा के दौरान ग्रामीण शिवकुमार नागपुरे ने बताया कि यदि इस घाट पर पुल बन जाता तो उद्योग धंधे उठते, लोगों को रोजगार मिलता, बालाघाट करीब हो जाता पिछले कई वर्षों से सुन रहे हैं कि पुल बनेगा लेकिन अब तक कुछ नहीं हुआ है पुल बनाना तो दूर की बात अब तक भूमि पूजन तक नहीं हो पाया है गौरी भाऊ ने सबसे पहले आश्वासन दिया था, फिर विधायक प्रदीप जायसवाल ने अप्रैल में गांव आकर पुल बनाने का आश्वासन दिया था हमें संभावना नहीं लग रही है कि यहां पुल बन जाए सिर्फ घोषणाओं में ही रह गया है हो सकता है सरकार डीजल पेट्रोल से पैसा कमा कर यहां पुल बना दे।
अब तक भूमिपूजन तक नहीं हुआ है-चंदन बिसेन
वहीं ग्रामीण चंदन बिसेन ने बताया कि जागपुर घाट पर पुल बनाना बहुत आवश्यक है इससे आने-जाने में सुविधा होगी लेकिन नेता लोग सिर्फ घोषणा करते हैं लेकिन काम नहीं करते गौरी भाऊ ने भी घोषणा की थी पर कुछ नहीं हुआ हमें उम्मीद तो है कि पुल बनेगा पर अब तक इस का भूमि पूजन तक नहीं हो पाया है
सिर्फ चुनाव के समय घोषणा होती है-दीवानचंद कडक़ाड़े
ग्रामीण दीवानचंद कडक़ाड़े ने बताया कि पुल बनाने की घोषणा हुई पर कुछ नही हुआ, सिर्फ चुनाव के समय घोषणा होती है उसके बाद कोई ध्यान नहीं देता गांव वाले कई बार पुल बनाने की मांग कर चुके हैं पर आज तक कुछ नहीं हुआ। पुल ना होने के चलते हमें 10 किलोमीटर घूम कर बालाघाट जाना पड़ता है जबकि पुल बन जाने से बालाघाट की दूरी महज 4 किलोमीटर हो जाएगी।
केंद्रीय मंत्री गडकरी ने भी आश्वासन दिया है-महेंश बिसेन
वही मामले को लेकर की गई चर्चा के दौरान रेंगाटोला सरपंच प्रतिनिधि महेंश बिसेन ने बताया कि यदि पुलिया बन जाता है तो इससे नए नए उद्योग धंधे लगते, हमें उम्मीद है कि 5 साल में यह पुल बनकर तैयार हो जाएगा लाकडाउन के बाद से ही पुल बनाने को लेकर गतिविधियां शांत हो गई है पुल 15-20 साल से प्रोजेक्ट में चल रहा है इसके पूर्व मंत्री गौरीशंकर बिसेन ने भी पुलिया बनाने की बात कही थी लेकिन कुछ नहीं हुआ पहले सुनने में आ रहा था कि यहां पुलिया 16 करोड़ रु की लागत से बनाया जाना है बाद में पता चला कि स्टीमेट को बढ़ाकर 16 से 18 करोड़ कर दिया गया है। गुड्डा भैया अभी बीजेपी सरकार में है उन्होंने चुनाव के पूर्व आश्वासन दिया था कि यहां पुलिया बनेगा, जब विधायक ने आश्वासन दिया है तो हमें लग रहा है कि पुल जरूर बनेगा क्योंकि विधायक जयसवाल ने केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी से भी पुलिया बनाने की बात कही है जहां केंद्रीय मंत्री गडकरी ने भी जागपुर घाट में पुलिया बनाने का आश्वासन दिया है जब भी पुलिया बनेगा तो उसका श्रेय विधायक को जाएगा।
नेता लोग सिर्फ राजनीति करते हैं-दिनेश कटरे
वही ममले को लेकर की गई चर्चा के दौरान रेंगाटोला निवासी ग्रामीण दिनेश कटरे ने बताया कि पुलिया का निर्माण हो जाने से जनता को, किसानों को, गरीब मजदूरों को,स्कूली बच्चो सहित कई गाँवो के ग्रामीणों को फायदा मिलेगा जमीन के रेट और अधिक बढ़ जाएंगे शहर के लोग भी गांव में आकर साफ-सुथरे वातावरण में रहने लगेंगे मंत्री जी का प्रयास बहुत अच्छा है लेकिन नेता लोग सिर्फ राजनीति करते हैं झूठ बोल कर वोट बटोरने हैं और जनता को गुमराह करते हैं।
सभी लोग पुल बनने की राह देख रहे हैं-डोमलाल चौहान
वही मामले को लेकर की गई चर्चा के दौरान जागपुर पूर्व सरपंच डोमलाल चौहान ने बताया कि विधायक गुड्डा जायसवाल ने आश्वासन दिया है कि जागपुर घाट पर पुल बनेगा उन्होंने 200 लोगों के साथ नदी में जाकर सर्वे भी किया है तो हमें लग रहा है कि यह पुल जरूर बनेगा, सभी लोग पुल बनने की राह देख रहे हैं लेकिन अभी तक पुल की नीव तक नहीं रखी गई है पहले 14 करोड़ का स्टीमेट पीडब्ल्यूडी कार्यालय से गया है अभी पीडब्ल्यूडी कार्यालय के उपयंत्री ने 17 करोड़ की लागत से पुल बनने की जानकारी दी है लेकिन अभी पुल बनाने को लेकर सिर्फ आश्वासन ही दिया जा रहा है।
पुल बन जाएगा तो सभी श्रेय लूटने आएंगे-लक्ष्मीचंद नगपुरे
वही ममले को लेकर की गई चर्चा के दौरान जागपुर ग्राम प्रधान लक्ष्मीचंद नगपुरे ने बताया कि पुलिया का निर्माण लॉकडाउन के चलते रुका हुआ है पुल बनाने की स्वीकृति मिल गई है गौरी भाऊ ने चुनाव के दौरान कहा था कि इधर भी फूल उधर भी फूल कर दो, तो जागपुर घाट पर पुल बन जाएगा तब से लेकर आज तक लोग सिर्फ आश्वासन पर ही जी रहे हैं हमारी मांग है कि पुल बनना चाहिए इसे गांव का भला होगा बच्चों के आने जाने सुविधा होगी अभी कई गांव के लोग फेर से बालाघाट आते जाते हैं मजदूर किसान सहित अन्य लोगों को सुविधा होगी बड़े बड़े उद्योग धंधे खुलेंगे लोगों को फायदा होगा उम्मीद तो है लेकिन हम कुछ नहीं कह सकते कि पुल कब बनेगा सिर्फ आश्वासन ही मिलता है काम नहीं होता 15 20 वर्षों से पुल की राह देख रहे हैं अब तो विश्वास करना भी मुश्किल हो गया है कि यहां पर पुल बने फिर भी गुड्डा भैया ने कहा है तो कुल जरूर बनेगा जब यहां पुल बन जाएगा तो सभी लोग अपना श्रेय लूटने आएंगे।