मोबाइल टावर के विरोध में उतरे वार्डवासी

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नगर के वार्ड नंबर 1 शंकर नगर में एयरटेल मोबाइल टावर की स्थापना इंदु पावर प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के द्वारा की जा रही थी जिसका वार्ड वासियों के द्वारा जमकर विरोध किया गया। वहीं उक्त संबंध में जिला कलेक्टर एसडीएम सीएमओ सहित समस्त अधिकारियों जनप्रतिनिधियों को ज्ञापन सौंप कर अपना विरोध भी दर्ज किया गया। ज्ञापन में वार्डवासियों ने बताया कि हम सभी वार्ड नंबर एक शंकर नगर के निवासी है हमारे रहवासी क्षेत्र में एयरटेल कंपनी द्वारा मोबाइल टावर लगाने का प्रयास किया जा रहा है यदि यह टावर लग जाता है तो भविष्य में हम रहवासीजन सहित पशु पक्षियों को बच्चों व गर्भवती महिलाओं के स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ेगा। यह जो टावर लगाने का कार्य किया जाना है वह अशोक मेश्राम के मकान के पश्चिम में, जीसी भैरम नरबद पारधी के पूर्व में, व्हीके साखरे डी के तुरकर के उत्तर में, विजय बिसेन प्रवीण मेश्राम श्रीमती निकोंसे के दक्षिण में सहित अन्य लोग वहां निवासरत है। इन सभी मकानों की टावर स्थल से दूरी 10 फिट है वहीं मुख्य मार्ग पर 33 केवी बड़ी लाइन निकली हुई है जिससे हमेशा हादसे की संभावना बनी रहती है। यदि यह टावर लगता है तो भविष्य में परेशानी ही होना है जिसको लेकर हमारी मांग है कि इस विषय को गंभीरता से लेते हुए टावर लगाने की अनुमति न दी जाए और इस टावर को अन्यंत्र स्थान पर स्थानांतरित किया जाये जिससे कि वार्ड वासी को भविष्य में परेशानी का सामना न करना पड़े।

स्कूल प्राचार्य निरंजन बिसेन ने पद्मेश से चर्चा में बताया कि हम सभी शंकर नगर वार्ड नंबर एक निवासी है यहां एक खाली प्लाट है उसे पर कोई मोबाइल कंपनी का टावर लगने वाला है जो इंदु पावर प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के द्वारा टावर लगाया जाना है। यह कार्य पूरा नियम विरुद्ध किया जा रहा है क्योंकि भारत सरकार का नियम है कि शैक्षणिक संस्था और अस्पताल से 200 मीटर की दूरी पर रिहायशी इलाके की 30 मीटर की दूरी पर कोई टावर नहीं लगाया जा सकता है। जबकि यहां पास में दो शैक्षणिक संस्था और आसपास लोगों के मकान बने हुए हैं ऐसे में यहां नियम के विरुद्ध है। इस संबंध में एसडीएम एवं जिला कलेक्टर से चर्चा की गई है तो इन्हें लाइसेंस प्राप्त होने की बात सामने आई है एनओसी अभी तक नहीं दी गई है यह टावर यहां ना लगे इस बात का सभी लोगों का विरोध है।

विनोद साकरे ने पदमेंश से चर्चा में बताया कि जिस प्लॉट पर टावर लगाया जाना है उससे मेरा मकान लगा हुआ है इस टावर के माध्यम से एक किलोमीटर का क्षेत्र प्रभावित होगा जनमानस को समस्या उत्पन्न होगी यह ठीक नहीं है। इसमें किसी भी मापदंड का कोई ध्यान नहीं रखा जा रहा है सारे नियमों को तक पर रखकर काम करने का प्रयास हो रहा है। जबकि नगर पालिका या जिला कलेक्टर कहीं से भी स्वीकृति होती है तो स्थल निरीक्षण होता है परंतु वह आज तक नहीं हुआ है यह प्राइवेट भूमि है और सुनने में आया है की भूमि वाले ने 40 वर्ष की लीज दी है।

राजकुमार लिल्हारे ने बताया कि यहां पर मेरे घर के सामने एयरटेल कंपनी का टावर लग रहा है जिसको लेकर हम सभी वार्ड वासियों की आपत्ति है कि यहां टावर नहीं लगना चाहिए। जिसको लेकर हमने जिला कलेक्टर एसडीएम और सभी अधिकारी व जनप्रतिनिधियों को शिकायत की है जबकि यहां से 33 केवी विद्युत लाइन निकल गई है ट्रांसफार्मर भी लगा हुआ है बहुत ज्यादा समस्या है। टावर लगेगा तो आजू-बाजू में समस्या होगी यहां स्कूल भी है सभी घरों में बच्चे बूढ़े रहते हैं इसी चीज को लेकर हमारी आपत्ति है।

वंदना मेश्राम ने बताया कि यहां यदि टावर लगता है तो उसका रेडिएशन उड़ेगा स्कूल पास में है नौनिहाल शिक्षा अध्ययन करने आते हैं टावर से 10 फिट की दूरी पर मकान लगे हुए हैं पूरा रहवासी इलाका है जिसके बीच में टावर बनाने का प्रयास हो रहा है। हम सभी के घरों में छोटे बच्चे और बड़े बुजुर्ग निवासरत है उन्हें रेडिएशन समस्या करेगा यह टावर यहां ना लगे यही हम चाहते हैं। जबकि स्थल मुआयना भी नहीं किया गया था और ऑनलाइन स्वीकृति पर ही जेसीबी लाकर कार्य प्रारंभ करने का कार्य किया जा रहा था जिसमें हमने उन्हें गड्ढे खोदने नहीं दिया गया कड़ा विरोध किया और इसकी शिकायत भी हर जगह की गई है।

इनका कहना है

दूरभाष पर चर्चा में बताया कि शंकर नगर के वार्ड वासियों के द्वारा टावर की शिकायत की गई थी उक्त संबंध में जांच की जा रही है।

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