क्या इस तरह के गुंडे को सीएम आवास में काम करना चाहिए, सुप्रीम कोर्ट की केजरीवाल के सहयोगी विभव पर सख्त टिप्पणी

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सुप्रीम कोर्ट ने आज दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल के करीबी सहयोगी विभव कुमार को लेकर बेहद सख्त टिप्पणी की है। कोर्ट ने कहा कि क्या इस तरह के गुंडे को मुख्यमंत्री आवास में काम करना चाहिए। शीर्ष अदालत ने राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल मामले की सुनवाई के दौरान कहा कि विभव ने इस तरह का आचरण किया जैसे कोई गुंडा मुख्यमंत्री के आवास में घुस गया हो। कोर्ट ने कहा कि महिला के साथ जबरदस्ती की गई। ऐसे बर्ताव पर शर्म नहीं आती। निजी सचिव के पद से हटने के बाद विभव कुमार सीएम आवास में क्यों था।

विभव कुमार को SC की फटकार

स्वाति मालीवाल से मारपीट बदसलूकी मामले में सीएम केजरीवाल के पूर्व पीएम विभव कुमार की मुश्किलें कम होती नहीं दिख रही। सुप्रीम कोर्ट ने विभव कुमार के रवैये पर सवाल उठाए। अदालत ने कहा कि एक महिला से जबरदस्ती की गई। ऐसे गलत बर्ताव पर शर्म नहीं आई। निजी सचिव पद से हटने के बाद भी मुख्यमंत्री आवास पर उनके होने पर भी कोर्ट ने सवाल उठाए।

‘क्या सीएम आवास निजी बंगला है’

उच्चतम न्यायालय ने विभव कुमार के वकील से पूछा कि क्या मुख्यमंत्री आवास निजी बंगला है? क्या इस तरह के ‘गुंडे’ को मुख्यमंत्री आवास में काम करना चाहिए। जब सीएम के निजी सचिव पर नहीं थे विभव कुमार तो वहां क्यों थे। क्या गुंडों को रखने के लिए है सीएम आवास। विभव कुमार की जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने ये टिप्पणी की।

स्वाति मालीवाल मारपीट केस में SC

आम आदमी पार्टी से राज्यसभा सदस्य स्वाति मालीवाल के साथ मारपीट के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सहयोगी विभव कुमार से कई सवाल पूछे। कोर्ट ने कहा कि स्वाति की ओर से सेहत के संबंध में बताए जाने के बावजूद बिभव कुमार ने उसके साथ मारपीट की। मारपीट की घटना के दौरान राज्यसभा सदस्य स्वाति मालीवाल ने पुलिस हेल्पलाइन पर फोन करने से क्या संकेत मिलता है।

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