26 अक्टूबर को अचानक ही मंत्री गौरी शंकर बिसेन के द्वारा नामांकन फॉर्म भरे जाने के बाद से ही जिले में यह जन चर्चा चलने लगी कि अब मौसम बिसेन भाजपा की प्रत्याशी नहीं होंगे बल्कि मंत्री गौरीशंकर बिसेन बालाघाट विधानसभा से चुनाव लड़ेंगे एवं मंत्री गौरीशंकर बिसेन द्वारा भी मीडिया से चर्चा के दौरान यह कहा गया की मौसम बिसेन की तबीयत खराब होने की वजह से उनके स्थान पर सुरक्षा की दृष्टि से उन्होंने फॉर्म भरा है एवं उसके बाद से ही भाजपा में कुछ भी ठीक-ठाक नहीं चल रहा था एवं मौसम बिसेन ने दो से तीन दिनों तक जिस प्रकार से वह भाजपा के कार्यक्रम एवं चुनाव को लेकर तैयारी कर रही थी उन कार्यक्रमों में वह नजर नहीं आ रही थी जिसको लेकर सभी का यह कहना था की मौसम बिसेन ने मंत्री के नामांकन फॉर्म भरने की बात से ही अपने आप को चुनाव से दूर कर लिया है किंतु 29 अक्टूबर को पुन: एक बार मौसम बिसेन द्वारा चुनाव को लेकर अपनी हुंकार भरते हुए भाजपा कार्यालय में एक कार्यक्रम में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए नजर आई है
आपको बता दे कि जैसे ही मंत्री गौरीशंकर बिसेन के द्वारा नामांकन फॉर्म भरा गय तो मीडिया को यह जानकारी दी गई की मौसम बिसेन की तबीयत ठीक नहीं होने के कारण वह जिले में नहीं है उसके स्थान पर वह सुरक्षा की दृष्टि से फॉर्म भर रहे हैं एवं जैसे ही मौसम बिसेन जिले में आएंगे वह अपना फॉर्म भर देगी किंतु मौसम बिसेन के वापस आने के बाद भी 27 अक्टूबर को अपना नामांकन फॉर्म नहीं भरा गया जिसके बाद से यह क्लियर हो गया कि अब बालाघाट विधानसभा से मंत्री गौरीशंकर बिसेन ही चुनाव लड़ेंगे एवं मौसम बिसेन ने भी जिस प्रकार से चुनाव को लेकर व कार्यक्रम में सक्रिय रहती थी वह भी वह तीन-चार दिन तक नजर नहीं आई जिसको लेकर जिले में यही जन चर्चा चलने लगी की मौसम बिसेन ने चुनाव से अपने आप को दूर कर लिया है कहीं ना कहीं उन्हें आप भाजपा द्वारा प्रत्याशी बनाए जाने के बाद उन्हें प्रत्याशी से हटा दिया गया है जिसकी उन्हें नाराजगी होगी और मंत्री गौरीशंकर बिसेन भी अपने आप को क्षेत्र क्रमांक 111 की अधिकृत प्रत्याशी बताने लगे पुन: 29 अक्टूबर को एक बार फिर मौसम बिसेन द्वारा अपने सोशल अकाउंट से भाजपा कार्यालय में भाजपा पदाधिकारी की एक बैठक लेते हुए पुन चुनाव को लेकर हुंकार भरी गई और उन्होंने कहा कि फर्क नहीं पड़ता कि प्रत्याशी कौन होता है उन सभी के लिए प्रत्याशी कमल का फूल ही होगा और उन्होंने कार्यकर्ताओं से एक बार फिर चुनाव में अपने आप को की जान लगाकर मेहनत करने की बात कही और साफ-साफ शब्दों में यह कह दिय बालाघाट विधानसभा में प्रत्याशी कमल का फूल ही है और उनका कहना था की मौसम बिसेन को प्रत्याशी नहीं बनाए जाने को लेकर बहुत से लोग नर्वस हो रहे हैं और कुछ लोग तो उनके पास आकर रो कर भी गए हैं और कह रहे थे की मौसम तुम क्यों प्रत्याशी नहीं हो और उन्होंने कह दिया कि प्रत्याशी तो कमाल का फूल ही है इसलिए वह पुन: एक बार सभी से की जान लगाकर चुनाव में उतरने की अपील कर रही है और उन्होंने पुन: अपने कार्यकर्ता एवं भाजपा पदाधिकारी से यह कहा कि क्या मौसम बिसेन आएंगे तभी वह सब चुनाव में जाएंगे इस प्रकार से पार्टी कार्यकर्ताओं को ढाढ़स बाँधते हुए पुनः जी जान से चुनाव में उतरने को कहा और कांग्रेस पार्टी को एक चालबाज पार्टी बताया और कहां की कांग्रेसियों द्वारा सारी उम्र अनुभा मुंजारे को गाली दिया गया और समय आया तो उन्हें अपने पक्ष में लेकर प्रत्याशी बना लिया गया और उन्होंने तो यहां तक कह दिय जो महिला अपने पति को दरकिनार कर दे वह महिला क्या आम जनता के लिये काम करेगी